[1]
‘नकारात्मक प्राणी दिवालिया और कर्ज सरीखा जानो ‘,
‘सकारात्मक प्राणी सोना नहीं’ ‘ पर सोने से कम नहीं ‘|
[2]
‘दुनिया दिखावे पर मरती है’ ,
‘अच्छाई की अनदेखी कर देती है ‘,
‘प्रभु को तेरी अच्छाई पसंद है ‘,
‘दिखावे पर ध्यान नहीं देते ‘|
[3]
‘लोग बातें तो बड़ी- बड़ी करते हैं ,’ दिल बड़ा नहीं रखते ‘,
‘जब छोटी बातों से भी सीखना शुरू कर देंगे ,’दिलदार कहलाएंगे ‘|
[4]
‘रूठना- मनाना,स्नेह-झगड़ा ,
‘हर घर की कहानी है ‘,
‘गजब तो ये है ‘एक-दूसरे को समझने
का प्रयास’ ‘रत्ती भर नहीं होता ‘|
[5]
मोदी उवाच
‘मैं देश से प्यार करता हूँ ,उसी के लिए मरता-जीता हूँ ‘,
‘गद्दारी नहीं आती देशवासियों ,’ चाहे जो सज़ा दे दो ‘|
[6]
‘सुंदर और सधी लिखावट ” कभी आलोचना का शिकार नहीं होती ‘,
‘आत्मविश्वासी बनाती है’ आदमी का व्यक्तित्व एक्सरे का काम करता है ‘|
[7]
‘तुम खुश हो या नहीं इससे कोई फर्क नहीं पड़ता ‘,
‘आप किसी को खुश रखते हैं या नहीं’ ,’सोचनीय है ‘|
[8]
‘हर वक्त तकदीर बदलती रहती है’ ,
‘कभी तोला कभी मासा ‘,
‘कोई तदबीर तो लगाओ यारों ‘,
‘प्रभु का दीदार हो जाए ‘|
[9]
‘एक ने कहा ‘आज मुस्कराहट है’ ,
‘कल तक दुःखों से घायल देखा था तुझे ‘,
‘दूजे के कहा ‘अपनों को मुस्कराता देख’ ,
‘अपने गम भूल गया हूँ ‘|
[10]
‘मेहंदी की तरह पिस जा , ‘हमदर्दी को अपनाता चल ‘,
‘स्नेह की हाला को पी ,’सभी के काम आता चल ‘|