‘विधवाओं को’‘अशुभ की श्रेणी में’ ‘क्यों रक्खा जाता है’समाज में ,
‘स्त्री अनाथ हैं तो अशुभ’ ,’बांझ हैं तो अशुभ’ ,’विधवा हैं तो कलंक’ ,
‘अशुभ वो घड़ी है’‘जब जीवन साथी बिछड़ा’,’अशुभ वो हैं’‘जो जीने नहीं देते’ ,
‘घर का अन्य मरे’- ‘अशुभ कुछ भी नहीं’ , ‘पति मरे तो स्त्री अशुभ’ ,
‘स्त्री को अशुभ मान कर’ ‘उसके ज़ख़्मों पर’ ‘नमक छिड़कते हैं हम’ ,
‘उसे आत्म-निर्भर बनाओ’ ‘,हमदर्दी’,’स्नेह’,’आत्मीयता’ का ‘अभाव कम करो’